क्रिप्टोक्यूरेंसी में निवेश कैसे करें

बाजार प्लेटफार्मों के प्रकार

बाजार प्लेटफार्मों के प्रकार
ई-नाम मंडी से जुड़ी ये नई तीन सुविधाएं

राष्ट्रीय कृषि बाजार योजना : ई-नाम पोर्टल पर किसानों के लिए जोड़ी गई तीन नई सुविधाएं

तह प्लेटफार्म गाड़ियां-प्लेटफ़ॉर्म कार्गो कार्ट (पुश कार्ट ट्रॉली) | ताइवान स्थित हैंड ट्रक, फोल्डिंग प्लेटफॉर्म कार्ट और स्टेपसीढ़ीमल आपूर्तिकर्ता और निर्माता | WOODEVER INDUSTRIAL CO., LTD.

प्लेटफ़ॉर्म कार्गो कार्ट (पुश कार्ट ट्रॉली) - वुडएवर 2003 से एक ताइवान फोल्डिंग प्लेटफ़ॉर्म कार्ट आपूर्तिकर्ता और निर्माता है।WOODEVER INDUSTRIAL Co., Ltd.20 से अधिक वर्षों के लिए एक हैंड ट्रक निर्माता और सामग्री हैंडलिंग आपूर्तिकर्ता रहा है। हम OEM और धातु उत्पादों के निर्माण में विशेषज्ञ हैं जैसे फोल्डिंग स्टील हैंड ट्रक, कन्वर्टिबल एल्यूमीनियम ट्रॉलियां, हेवी-ड्यूटी प्लेटफॉर्म गाड़ियां, मल्टी-फंक्शन लैडर, ट्रकों के लिए स्टेप स्टूल आदि।

प्लेटफॉर्म कार्ट का प्रोडक्शन लीड टाइम औसतन 50-60 दिन है

तह प्लेटफार्म गाड़ियां

प्लेटफ़ॉर्म कार्गो कार्ट (पुश कार्ट ट्रॉली)

प्लेटफ़ॉर्म कार्ट की सुविधा

WOODEVER अलग-अलग कार्यों की विशेषता वाले चार प्रकार के प्लेटफ़ॉर्म कार्ट प्रदान करता है: समायोज्य प्लेटफ़ॉर्म और हैंडल, क्षमता 150kg (330 lbs) से 300 kg (660 lbs) तक होती है। गैर-पर्ची सतह के साथ विस्तृत मंच प्रदान करना, बड़ी मात्रा में स्थिर परिवहन स्टैक अप बॉक्स, जो कुशलता से काम करते हैं और आपके समय और ऊर्जा को बचाते हैं।

प्लेटफ़ॉर्म कार्ट के अनुभवी निर्माता के रूप में, हम समझते हैं कि फोल्डिंग प्लेटफ़ॉर्म कार्ट को हेवी-ड्यूटी और उठाने के एर्गोनॉमिक्स के आधार पर डिज़ाइन किया जाना है। इच्छाओं को पूरा करने के लिए, Q235 बाजार प्लेटफार्मों के प्रकार स्टील और LD31 एल्यूमीनियम मिश्र धातु को अपनाते हुए, WOODVER की प्लेटफ़ॉर्म ट्रॉली मजबूत संरचना बनाने के लिए योग्य धातु सामग्री का लाभ उठाती है; पूरा प्लेटफॉर्म कार्ट टेक और स्टोवअवे के लिए हल्का है, इस बीच, भारी वजन उठाने के लिए काफी कठिन है। लॉजिस्टिक, हाउस मूविंग या प्रदर्शनी और किसान बाजार में माल ले जाने के लिए उपयुक्त।

सुविधा: बाजार समिति के जीर्णोद्धार के दूसरे फेज का काम जल्द शुरू, 57 करोड़ होंगे खर्च

बाजार समिति का स्थल निरीक्षण करते नगर आयुक्त व एसडीओ। - Dainik Bhaskar

स्मार्ट सिटी के तहत बाजार समिति को नया लुक देने का काम चल रहा है। यहां आने वाले किसानों के साथ-साथ व्यापारियों को तमाम जरूरी सुविधाएं दी जा सके। बता दें कि बाजार समिति का दो फेज में जीर्णोद्धार किया जाना है। फर्स्ट फेज का काम जारी है। दूसरे फेज का भी टेंडर किया जा चुका है। कार्यादेश मिलने के बाद शीघ्र ही काम शुरू किया जाएगा। फेज टू का काम शुरू होने के पूर्व बुधवार को नगर आयुक्त अंशुल अग्रवाल एवं एसडीओ कुमार अनुराग ने स्थल निरीक्षण किया। फेज टू के लिए तैयार किए गए डीपीआर के अनुसार कहां-कहां क्या काम होना है, कहां अतिक्रमण की समस्या है और उससे कैसे निपटा जा सकता है। इन तमाम बातों की बारीकी से जानकारी ली। नगर आयुक्त ने बताया कि दूसरा फेज बहुत बड़ा प्रोजेक्ट है। कई बड़े काम किए जाने हैं। प्रशासनिक भवन, वेंडिंग प्लेटफार्म, तालाब निर्माण के साथ-साथ चौड़ी सड़कें होगी। इसके बाजार प्लेटफार्मों के प्रकार अलावा कई छोटी-छोटी दुकानें भी बनेगी। इस पर करीब 57 करोड़ खर्च किया जाना है। तैयार किए गए डिजाइन के अनुसार कहां-कहां अतिक्रमण को हटाना है। इसका निरीक्षण किया गया है। ताकि निर्माण कार्य शुरू होने के बाद किसी प्रकार की समस्या न हो। जहां-जहां अतिक्रमण हटाना है इसपर एसडीओ से विचार कर रूप-रेखा तैयार किया जाएगा। निरीक्षण के क्रम में स्मार्ट सिटी के प्रतिनिधि, कंपनी के साइड इंजीनियर सत्येन्द्र शर्मा, इंचार्ज राकेश कुमार उर्फ पप्पू, सुपरवाइजर मिथुन कुमार, लेबर हेड कन्तु शर्मा समेत अन्य लोग मौजूद थे।

शेयर बाजार में भारी मुनाफा दिलाने का झांसा फर्जी एप्लीकेशन के जरिए ट्रेडिंग पर्सनल खाते में जमा करवा लिए लाखों रुपए

भोपाल
मुंबई स्टॉक एक्सचेंज एवं नेशनल स्टॉक एक्सचेंज में शेयर बाजार ट्रेडिंग करवाने के नाम पर लाखों रुपए का मुनाफा दिलाने का झांसा देने वाले दो युवकों को साइबर पुलिस ने गिरफ्तार किया है अमदाबाद में रहने वाला डिप्लोमा धारी कार्तिक दर्जी एवं 12वीं पास हरसिल पांचाल नामक युवकों ने एक फर्जी प्लेटफार्म एप्लीकेशन तैयार की थी जो स्टॉक मार्केट में इन्वेस्टमेंट करने वाली नकली एप्लीकेशन की नकल थी

cyber crime

आरोपी जस्ट डायल एवं व्हाट्सएप ग्रुप एवं सोशल मीडिया से नंबर निकाल कर लोगों को मैसेज एवं फोन किया करते थे स्टॉक मार्केट में दिल्ली ट्रेनिंग करने का ऑफर दिया जाता था और थोड़े पैसे लगाकर ज्यादा मुनाफा कमाने की बात कही जाती थी आरोपियों ने फर्जी एप्लीकेशन में जो अकाउंट अटैच किया हुआ था वह उनका पर्सनल अकाउंट था इस प्रकार व्यक्ति आरोपियों की बातों में आकर शेयर बाजार ट्रेडिंग करने के लिए एप्लीकेशन डाउनलोड करता था और फर्जी एप्लीकेशन प्लेटफॉर्म पर ट्रेडिंग अकाउंट खोलकर अपने बैंक खाते से पैसा ट्रांसफर करने लगता था एप्लीकेशन पर व्यक्ति के नाम से बने हुए ट्रेडिंग अकाउंट में पैसा जमा दिखाया जाता था इसके बाद व्यक्ति को लगता था कि उसके खाते में पैसा आ गया है और वह ऑपरेटिंग कर सकता है इस प्रकार ट्रेडिंग करने के बाद फर्जी तरीके से शिकार के अकाउंट में मुनाफा दिखाया जाता था जो वास्तव में होता ही नहीं था लालच में आया हुआ व्यक्ति अपने ट्रेडिंग अकाउंट में और ज्यादा पैसे जमा करने लगता था जब व्यक्ति यही पैसा वापस निकालने का प्रयास करता था तो उसे ब्लॉक कर दिया बाजार प्लेटफार्मों के प्रकार जाता था दोनों आरोपी युवक यह पैसा अपने खाते में जमा करवाते थे जिसे बाद में आसानी से बैठो कर लेते थे पैसा मांगने वाला व्यक्ति जब मोबाइल पर संपर्क करने का प्रयास करता था तो उसे ब्लॉक कर दिया जाता था इस प्रकार शिकार बना व्यक्ति कभी भी आरोपियों से संपर्क ही नहीं कर पाता था पकड़े गए आरोपियों ने अब तक देश भर में ऐसे 61 लोगों के साथ 65 लाख रुपए की धोखाधड़ी की बात स्वीकार की है।

ई-नाम पोर्टल से जुड़े हुए है देश के 21 राज्य

ई-नाम पोर्टल् से अब तक देश के 21 राज्य जुड़ चुके हैं। इसमें आंध्र प्रदेश, चंडीगढ़, छत्तीसगढ़, गुजरात, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, जम्मू कश्मीर, झारखंड, कर्नाटक, केरल, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, ओडि़सा, पंदुचेरी, पंजाब, राजस्थान, तमिलनाडु, तेलंगाना, उत्तरप्रदेश, उतराखंड तथा वेस्ट बंगाल शामिल हैं। इस पोर्टल से अब तक 21 राज्यों की 1,000 कृषि उपज मंडियां को जोड़ा जा चुका है।

राष्ट्रीय कृषि बाजार से 21 राज्यों एक 1,000 कृषि उपज मंडी जुडी हुई हैं। इन 1000 मंडी से 1 लाख 63 हजार 391 व्यापारी तथा 90 हजार 980 कमिशन एजेंट जुड़े हुए हैं। इसके अलावा एफपीओ (किसान उत्पादक संगठन) की संख्या 1 हजार 841 है जो ई- नाम मंडी से जुड़े हुए हैं। व्यक्तिगत किसानों जो ई-मंडी में पंजीकृत है उनकी संख्या 1 करोड़ 70 लाख 25 हजार 393 किसान है। व्यापारी, किसान एजेंट तथा किसान उत्पक संगठन को मिलाकर 1 करोड़ 72 लाख 81 हजार 605 लोग इससे जुड़े हुए हैं।

किसान ई-नाम पोर्टल पर कैसे देखें प्रतिदिन के ताजा भाव

किसान ई-नाम मंडी पर प्रतिदिन का मंडी भाव देख सकते हैं। ई मंडी पर 21 राज्यों एक 1000 कृषि उपज मंडी का मूल्य ऑनलाइन देखे जा सकते हैं। इसके लिए किसान को ई-नाम मंडी के वेबसाइट पर जाना होगा। वेबसाइट खुलने पर ऊपर के लाइन में डेशबोर्ड लिखा होगा। उसमें जाने पर व्यापार का सीधा प्रसारण के आप्शन पर क्लिक करना होगा। इसके बाद आप को देश भर के मंडी का अपडेट मिल जाएगा। आप अपनी सुविधा के अनुसार राज्य, जिला तथा कमोडिटी (फसल) का चयन करें।

अगर आप नए ट्रैक्टर , पुराने ट्रैक्टर , कृषि उपकरण बेचने या खरीदने के इच्छुक हैं और चाहते हैं कि ज्यादा से ज्यादा खरीददार और विक्रेता आपसे संपर्क करें और आपको अपनी वस्तु का अधिकतम मूल्य मिले तो अपनी बिकाऊ वस्तु को ट्रैक्टर जंक्शन के साथ शेयर करें।

क्या आप चेन्नई सुपर किंग्स और रिलायंस रिटेल में निवेश करना चाहते हैं? जानिए कैसे!

नए जमाने के ब्रोकर और क्रांतिकारी तकनीकी प्लेटफार्मों के माध्यम से रिटेल निवेशकों (आपके और हमारे जैसो) के लिए शेयर बाजारों में निवेश करना बहुत आसान हो गया है। लेकिन क्या आपने कभी इस बारे में सोचा है, कि आप ओयो रूम्स, चेन्नई सुपर किंग्स और रिलायंस रिटेल जैसी निजी कंपनियों में कैसे निवेश कर सकते हैं?

आपने मशहूर निवेशक राकेश झुनझुनवाला पर प्री-आईपीओ कंपनियों में निवेश करके करोड़ों कमाने पर लेख पढ़ा होगा। दशकों तक, निजी इक्विटी बाजार केवल हाई -नेटवर्थ वाले व्यक्तियों (high net-worth individuals) और उनके जैसे उद्यम पूंजीपतियों के लिए ही सुलभ थे। लेकिन आज चीजें बदल रही हैं! इस लेख में, भारत के निजी इक्विटी बाजार और शेयर बाजारों में सूचीबद्ध होने से पहले आप फर्मों में कैसे निवेश कर सकते हैं, इसके बारे में अधिक जानेंगे।

निजी इक्विटी क्या है?

भारत में हम अक्सर प्रमुख उद्यम पूंजीपतियों और हाई -नेटवर्थ वाले व्यक्तियों द्वारा निजी स्वामित्व वाली कंपनियों( privately-owned companies) या स्टार्टअप में निवेश करने की खबरें सुनते हैं। इन निवेशों को बाजार के संदर्भ में निजी इक्विटी (private equity) के रूप में उल्लेखित किया जाता है। यह, फर्मों को अपने दिन-प्रतिदिन के कार्यों को चलाने, नए उत्पादों या प्रौद्योगिकी पर काम करने और विकास को बढ़ावा देने में मदद करता है। इस तरह के निजी निवेश का उपयोग विस्तार, विविधीकरण या अधिग्रहण के लिए भी किया जाता है। अपनी व्यापक वित्तीय संसाधन के साथ, संस्थानों को आकर्षक व्यवसाय मॉडल तक पहली पहुंच मिलती है। जैसे-जैसे कंपनियां बढ़ती हैं और सार्वजनिक हो जाती हैं, ये शुरुआती निवेशक और प्रमोटर अपने शेयर बहुत अधिक मूल्य पर बेचते हैं।

पिछले कुछ वर्षों में, भारत में स्थित निजी कंपनियां और स्टार्टअप अपने उत्पादों और प्रौद्योगिकियों को विकसित करके फले-फूले हैं। 2020 में, निजी बाजार में निवेश सार्वजनिक बाजार की तुलना में 2.5 गुना अधिक था। EY रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय फर्मों में PE और उद्यम पूंजी निवेश 2021 में 77 बिलियन डॉलर के रिकॉर्ड उच्च स्तर पर पहुंच गया, 2020 की तुलना में 62% की वृद्धि। हमारे देश में ई-कॉमर्स, फिनटेक और एड-टेक सबसे तेजी से बढ़ते क्षेत्र हैं। ऐसेमे भारतीय व्यवसायों में कौन निवेश नहीं करना चाहेगा।

मैं निजी कंपनियों में कैसे निवेश कर सकता हूं?

रिटेल निवेशकों के रूप में, हम अक्सर अपने पोर्टफोलियो में विविधता लाने और बेहतर रिटर्न प्राप्त करने के लिए नए तरीकों की तलाश करते हैं। इस प्रकार, निजी कंपनियों की इक्विटी में निवेश करने से हम उनकी विकास के सफ़रका हिस्सा बन सकते हैं। इस तरह के निवेश अब लीडऑफ (Leadoff) नामक एक नए मंच के माध्यम से संभव हैं, जिसका उद्देश्य भारतीयों के लिए निजी इक्विटी का लोकतंत्रीकरण करना है

डिजिटल प्लेटफॉर्म अनिवार्य रूप से प्रवेश की बाधा को तोड़ता है और आपको प्रमुख निजी कंपनियों में निवेश करने की अनुमति देता है। यह एक सहज एवं सरल निवेश मंच प्रदान करने के लिए बिचौलियों और समय लेने वाली प्रलेखन प्रक्रियाओं को कम करता है। आप इसकी मदत से चेन्नई सुपर किंग्स, जल्द ही सार्वजनिक होने वाली Oyo Rooms, PharmEasy, और Reliance Retail जैसी कंपनियों में निवेश कर सकते हैं, जिसकी न्यूनतम राशि केवल 10,000 रुपये है! इन उच्च-विकास फर्मों की वित्तीय रिपोर्टों और महत्वपूर्ण दस्तावेजों के माध्यम से कोई भी तर्कसंगत निवेश का निर्णय ले सकते है। निवेशकों को निवेश करने से पहले हमेशा इन रिपोर्टों को अच्छी तरह से पढ़ लेना चाहिए।

यह कैसे काम करता बाजार प्लेटफार्मों के प्रकार है?

लीडऑफ़ ने निजी स्वामित्व वाली कंपनियों के शुरुआती निवेशकों, संस्थापकों और अन्य शेयरधारकों का एक व्यापक नेटवर्क स्थापित किया है। इस प्रकार, वे विभिन्न संस्थाओं से शेयर प्राप्त करते हैं और उन्हें सीधे अपने प्लेटफॉर्म पर उपयोगकर्ताओं को हस्तांतरित करते हैं। शेयर की कीमतों का मूल्यांकन संबंधित कंपनियों और उनकी ऑडिटिंग फर्मों द्वारा किया जाता है। और जब आप ऑर्डर देते हैं, तो लीडऑफ़ शेयरों को सीधे आपके मौजूदा डीमैट खाते में स्थानांतरित कर देता है!

प्लेटफ़ॉर्म बैंक-स्तरीय सुरक्षा और उपयोगकर्ता के अनुकूल डैशबोर्ड प्रदान करता है ताकि आप अपने लेनदेन पर नज़र रख सकें। पोजीशन/होल्डिंग्स को कंपनी शेयर बायबैक के माध्यम से या सार्वजनिक लिस्टिंग के समय बाहर निकाला जा सकता है। बाजार प्लेटफार्मों के प्रकार साथ ही, भारत में निजी इक्विटी शेयरों में किए गए सभी लेनदेन कानूनी हैं!

निवेश करने का निर्णय लेने से लेकर वास्तव में शेयर प्राप्त करने तक, आप 3 आसान चरणों में लेनदेन करने के लिए सक्षम होंगे:

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