शेयर व्यापारी

मुख्य Indices

मुख्य Indices

ESSO - Indian National Centre for Ocean Information Services

राजभाषा अधिनियम 1963 एवं राजभाषा नियम 1976 के अनुपालन के अनुसार भारतीय राष्ट्रीय महासागर सूचना सेवा केंद्र (इंकॉइस) में हिन्दी के प्रयोग को बढ़ावा देने के लिए राजभाषा कार्यान्वयन समिति का गठन किया गया है। विगत कुछ वर्षों से इंकॉइस में नियमित रूप से साल के हर तिमाही में हिन्दी कार्यशालाओं का आयोजन किया जा मुख्य Indices रहा है, जिसका मुख्य उद्देश्य कर्मचारियों के बीच हिन्दी के प्रति जागरूकता को मुख्य Indices बढ़ाना है।

तिमाही कार्यशाला के साथ-साथ राजभाषा नीति के कार्यान्वयन हेतु हर तिमाही में समिति के बैठक का भी आयोजन किया जाता है। पुस्तकालय में हिन्दी पुस्तकों की खरीदी नियमित रूप से होती है। इसके अलावा हिन्दी शिक्षण योजना, राजभाषा विभाग, गृह मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा कर्मचारियों को प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है।

इंकॉइस के हर प्रपत्र, नामपट्ट, रबड़ की मोहरें आदि को द्विभाषिक किया गया है और राजभाषा अधिनियम 1963 के धारा 3(3) के अंतर्गत सभी दस्तावेज़ों को द्विभाषिक रूप में उपलब्ध किया जाता है। हिन्दी में प्राप्त पत्रों के उत्तर हिन्दी में ही दिया जा रहा है। इसके अलावा हर साल हिन्दी मुख्य Indices पखवाड़ा का आयोजन नियमित रूप से किया जाता है, जिसमें कर्मचारियों के लिए निबंध लेखन,आशु भाषण, हिन्दी में वैज्ञानिक प्रस्तुतिकरण , कविता पाठ जैसे विभिन्न प्रतियोगिताओं और कर्मचारियों के बच्चों के लिए कविता पाठ/कहानी पाठ प्रतियोगिता आयोजित करते है और विजेताओं को निदेशक, इंकॉइस द्वारा पुरस्कृत भी किया जाता है।

मुख्य Indices

  • उपभोक्ता संरक्षण के बारे में

महत्वपूर्ण सूचना :

  • विजनटेक -सर्विस ईंजिनियर की ज़िले वार जानकारीडीएसके डिजिटल -सर्विस ईंजिनियर की ज़िले वार जानकारीडीएसके डिजिटल - पीओएस मशीन के संचालन हेतु यूज़र मेन्युअलविजनटेक - पीओएस मशीन के संचालन हेतु यूज़र मेन्युअलमध्यप्रदेश, खादय आयोग मैं अध्यक्ष या सदस्य पद पर नियुक्ति
    खाद्य आयोग में प्रतिनियुक्त पर भरती हेतु आवेदन फॉर्म
    खाद्य आयोग के अध्यक्ष एवं सदस्य के पदों पर नियुक्ति हेतु प्रस्तुत करने की समय-सीमा वढाने बावत
    TENDER No: 5238 Procurement of Banking Services/2017
    जिला उपभोक्ता मुख्य Indices मुख्य Indices फोरम में अध्यक्ष पद पर नियुक्ति हेतु विज्ञापन
    उचित मूल्‍य दुकान विहिन ग्राम पंचायत
    विज्ञप्ति’ एवं आवेदन का प्रारुप ‘क’
    TENDER No: 5238 Procurement of Banking Services/2017(Corrigendum)
    TENDER No: 5238 Procurement of Banking Services/2017(PostPreBid)
    Tender No: 1158 Selection of मुख्य Indices agency for supply of manpower.
    कनिष्ट आपूर्ति अधिकारी के पद पर सम्मिलित प्रावीण्य सूची के अभ्यार्थियों की सूची.
    चयनित के दस्तावेज सत्यापन की जानकारी
    अनुसूचित जनजाति के परिवारों को सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत दाल वितरण की पायलट योजना

हेल्‍पलाइन Analytical Dashboard

विभाग का उद्देश्‍य

खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्‍ता संरक्षण विभाग का मुख्‍य उद्देश्‍य लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली अंतर्गत चिन्‍हांकित परिवारों को पात्रतानुसार रियायती दर पर सामग्री का वितरण्‍ कराना, किसानों को उनकी उपज का सही मूल्‍य दिलाने हेतु समर्थन मूल्‍य पर खाद्यान्‍न का उपार्जन करना एवं उपभोक्‍ता हितों का संरक्षण करना है। प्रदेश में दिनांक 01 मार्च, 2014 से राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 के प्रावधान अनुसार लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली का प्रारम्भ किया गया। पात्र परिवारों में अन्त्योदय अन्न योजना के परिवारों के साथ-साथ प्राथमिकता परिवार के रूप में 24 श्रेणियों को शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्र में सम्मिलित किया गया। प्राथमिकता परिवार की श्रेणियों में न सिर्फ समस्त बीपीएल परिवार सम्मिलित किए गए अपितु 23 अन्य श्रेणियों मुख्य Indices के गैर-बीपीएल परिवारों को भी सम्मिलित किया गया। राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 के प्रावधानानुसार ‘राज्य खाद्य आयोग’ का दायित्व अंतरिम रूप से मध्यप्रदेश राज्य उपभोक्ता प्रतितोषण आयोग को दिया गया है तथा प्रत्येक जिले के कलेक्टर को ‘जिला शिकायत निवारण अधिकारी’ घोषित किया गया है।

कनिष्ट आपूर्ति अधिकारी हेतु चयनित उम्मीदवारों के दस्तावेज सत्यापन केन्द्र

जिला शिकायत निर्वारण अधिकारी

दुकान आवंटन हेतु ऑनलाइन आवेदन

"POS" मशीन की मुख्य Indices खराबी की शिकायतो की स्थिति

विभागीय गतिविधियां

ई-वेयरहाउस लाइसेंस

अधिनियम

आंकड़े

सूचना का अधिकार

प्रशासकीय प्रतिवेदन

अधिसूचनायें

उपभोकता संरक्षण के मार्गदर्शी सिद्धांत

विभाग से संबंधित सर्कुलर डाउनलोड करे

© All Data, Contents Provided, Updated & Maintained by Concerned Departments and Their Designated Officers/Sta

मुख्य Indices

The Child and Adolescent Labour (Prohibition and Regulation) Act 1986 || For more details Click Here || "The word KHADI and the LOGOs are registered trademarks of the Khadi and Village Industries Commission (KVIC). No one may use or reproduce these trademarks in any manner on products or on their website or any printed materiais without the written permission of KVIC"

अध्यक्ष का संदेश

माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के आह्वान पर जब राष्ट्र आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है, ऐसे समय में खादी ग्रामोद्योग आयोग के अध्यक्ष का पदभार ग्रहण करना मेरे लिए सौभाग्य की बात है। न केवल स्वतंत्रता आंदोलन में अपितु स्वतंत्रता के पश्चात अभी तक के पचहत्तर वर्षों में खादी और ग्रामोद्योग ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। महात्मा गांधी के कथन, कि भारत का भविष्य उसके गांवों में बसता है, राष्ट्र निर्माण में हमारे गांवों की ठोस सामाजिक और आर्थिक व्यवस्था के योगदान को दर्शाता है।

PMEGP

प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम

पीएमईजीपी के नए दिशानिर्देश प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (पीएमईजीपी) का शुभारंभ 15 अगस्त, 2008 को हुआ था और इसे ग्रामीण रोजगार सृजन कार्यक्रम (आरईजीपी) के स्थान पर शुरू किया गया था। प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (पीएमईजीपी) एक क्रेडिट लिंक्ड कार्यक्रम है, जिसे सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय द्वारा देश के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में रोजगार सृजन हेतु वर्ष 2008-09 में शुरू किया गया था।

SFURTI

स्फूर्ति

स्फूर्ति, पारंपरिक उद्योगों के पुर्नसृजन सृजन हेतु मुख्य Indices निधि की एक योजना है, सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय ने क्लस्टर विकास को बढ़ावा देने के लिए वर्ष 2005 में इस योजना की शुरुआत की थी। खादी और ग्रामोद्योग आयोग, खादी और ग्रामोद्योगी उत्पादों के क्लस्टर विकास को बढ़ावा देने हेतु एक नोडल अभिकरण है।

मुख्य Indices

Government of Haryana

coronarelief02Dec2021 _smallpic Azadi_Ka_AmritMahotsav

  • Print /
  • शेयर
  • फेसबुक पर साझा करें
  • ट्विटर पर शेयर करें
  • Share on Linkedin

हरियाणा में वैधानिक निकाय

राज्य चुनाव आयोग हरियाणा

राज्य चुनाव आयोग, हरियाणा का गठन 18 नवंबर 1993 को भारत के संविधान के अनुच्छेद 243ZA के साथ अनुच्छेद 243 के प्रावधानों के तहत गठित किया गया था। आयोग को राज्य में पंचायती राज संस्थानों (पीआरआई) और नगर निकायों के सभी चुनावों के संचालन के लिए अधीक्षण, दिशा और नियंत्रण की ज़िम्मेदारी दी गई है।

सूचना आयोग हरियाणा

हरियाणा भारत के सबसे धनी राज्यों में से एक है और देश में तीसरी सबसे ज्यादा ग्रामीण करोड़पति की सबसे बड़ी संख्या सहित प्रति व्यक्ति आय 67,891 है ।हरियाणा दक्षिण एशिया में सबसे आर्थिक रूप से विकसित क्षेत्रों में से एक है और इसके कृषि और विनिर्माण उद्योग ने 1970 से निरंतर विकास का अनुभव किया है। हरियाणा यात्री कारों, दोपहिया वाहनों का भारत का सबसे बड़ा निर्माता है ।

लोकायुक्त हरियाणा

लोकायुक्त संस्थानों की स्थापना लोगों को स्वच्छ, पारदर्शी और उत्तरदायी सरकार प्रदान करने के लिए एक सतत प्रयास का हिस्सा है। लोकायुक्त आज एक अर्ध-न्यायिक निकाय प्रदान करने की आवश्यकता के संस्थागत अभिव्यक्ति हैं, जो प्रशासन के गलत कामों को इंगित करने के लिए एक निगरानी के रूप में कार्य करेंगे, भ्रष्ट तत्वों के पीड़ितों की शिकायतों को देखेंगे और प्रभावशीलता और हमारी सरकार मुख्य Indices को दक्षता में सुधार के उपायों का सुझाव देंगे ।

हरियाणा लोक सेवा आयोग

संघ और राज्य स्तर पर सार्वजनिक सेवा आयोग, लंबे परंपराओं के साथ सबसे महत्वपूर्ण सार्वजनिक संस्थानों में से हैं, जिन्होंने अच्छी तरह से सेवा की है। इस संस्थान की स्थापना भारतीय राजनीति के इतिहास में और ब्रिटिश राज के तहत सिविल सेवा के प्रगतिशील भारतीयकरण के लिए स्वतंत्रता आंदोलन के नेताओं की लगातार मांग थी। मोंटगु-चेम्सफोर्ड रिपोर्ट ने सिद्धांत रूप में उच्च नागरिक सेवाओं के भारतीयकरण की मांग को स्वीकार कर लिया और तदनुसार इसके लिए एक प्रावधान भारत सरकार अधिनियम, 1919 में किया गया था। लॉर्ड ली की अध्यक्षता में भारत में सुपीरियर सिविल सेवा का रॉयल कमीशन , 1924 की रिपोर्ट में, भारत के लोक सेवा आयोग की स्थापना की सिफारिश की गई। भारत के लोक सेवा आयोग की स्थापना 1 अक्टूबर, 1926 को सर रॉस बार्कर की अध्यक्षता में की गई थी ।

अधिक जानकारी के लिए, वेबसाइट http://hpsc.gov.in/ पर जाएं-

हरियाणा विद्युत विनियामक आयोग

हरियाणा विद्युत विनियामक आयोग की स्थापना हरियाणा विद्युत सुधार अधिनियम, 1997 के प्रावधान के अनुसार 17 अगस्त 1998 को एक स्वतंत्र सांविधिक निकाय कॉर्पोरेट के रूप में की गई थी । हरियाणा बिजली क्षेत्र के सुधार और पुनर्गठन की प्रक्रिया शुरू करने के लिए भारत का दूसरा राज्य था ।

रेटिंग: 4.32
अधिकतम अंक: 5
न्यूनतम अंक: 1
मतदाताओं की संख्या: 486
उत्तर छोड़ दें

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा| अपेक्षित स्थानों को रेखांकित कर दिया गया है *